बिना Engineering Degree के 8 सालों में हाथों से बना डाली सुपरबाइक

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बिना Engineering Degree के 8 सालों में हाथों से बना डाली सुपरबाइक
बिना Engineering Degree के 8 सालों में हाथों से बना डाली सुपरबाइक

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। हर किसी बाइक शौकीन का सपना होता है कि वो एक सुपरबाइक खरीद सके। हाई परफार्मेंस वाली बाइक्स भी लगभग 10 लाख रुपये के प्राइस टैग के साथ आती हैं, और इतने बड़े प्राइस टैग को देखकर कुछ लोग सुपरबाइक का सपना देखना छोड़ देते हैं। लेकिन, एक शख्स ने तय किया की वो ऐसा नहीं करेगा। गुजरात के राजकोट के रिद्देश व्यास ने एक 1 हजार सीसी, 4 सिलिंडर चॉपर बाइक बनाई है। अपने सपनों को दो पहियों पर साकार करने में रिद्देश को 8 साल का लंबा वक्ता लगा। रिद्देश ने अपने सपने को Ridd नाम दिया है।

 

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Riddhesh ने काफी सारे हाथ से बनाये हुए पार्ट्स का इस्तेमाल करते हुए  Ridd को तैयार किया है। उनका कहना है की 1,000 सीसी 4-सिलिंडर इंजन, हाइड्रोलिक सिस्टम और टायर्स के अलावा उनकी बाइक में हर चीज हाथ से बनायीं हुई है। ये chopper जैसे स्टाइल की गयी है और इसमें फ्रंट फोर्क आगे की ओर निकले हुए हैं। बाइक में लम्बा व्हीलबेस है, इसकी लम्बाई कुल 9 फीट की है और इसकी राइड काफी आरामदायक है। इस कस्टम बाइक का स्ट्रीट प्रेसेंस कमाल का है और इसका वजन लगभग 400 किलो है।

इंजीनियरिंग या डिजाईन में कोई डिग्री न होने के बावजूद, सिर्फ मेटल इंडस्ट्री में अपने अनुभव के दम पर Riddhesh ने इस बाइक को बनाया। Riddhesh का मेटल का कारोबार है और इस अनुभव ने इन्हें Ridd के पार्ट्स बनाने में मदद की। पेश है एक छोटा सा विडियो जिसमें ये दिखाया गया है की Ridd आखिर कैसे बनी।

 

बाइक के दीवाने Riddhesh के दिल में बाइक को लेकर जूनून तब से सवार हुआ जब उन्होंने अपनी मोटरसाइकिल को खुद से सर्विस करना शुरू किया। ये अनुभव उनके काम तब आया जब उन्होंने Ridd बनाना शुरू किया। उन्होंने हाई-एंड बाइक के सबसे अच्छे फीचर्स पर भी गौर किया और अपने कस्टम बाइक में उनका इस्तेमाल किया। Ridd में भी ऐसे ही कुछ फीचर्स शामिल हैं इसमें हाइड्रोलिक क्लच, रियर में सिंगल साइड स्विंग आर्म और फ्रंट में स्विंग आर्म पर आधारित सस्पेंशन सिस्टम। ये बाइक 170 किमी/घंटे की टॉप स्पीड तक पहुंच सकती है।

 

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इस सपने को हकीकत में बदलने में जो 8 साल का समय उन्हें लगा, उस दौरान Riddhesh के अनुसार उन्होंने लगभग 8 लाख रुपए खर्च किये। हालांकि ये एक बड़ा अमाउंट है लेकिन अपने आप को Limca book of records में पाने की खुशी के ऊपर एक प्राइस टैग नहीं लगाया जा सकता। हाँ, इस बाइक ने इंडिया की पहली हाथ से बनी सुपरबाइक के रूप में अपना नाम रिकॉर्ड बुक्स में दर्ज कराया है। 

 

Created On :   3 Feb 2018 5:42 AM GMT

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